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भारत के प्रमुख बांध की सूची

भारत के प्रमुख बांध की सूची 


हम जानते हैं की किसी भी स्थान का मौसम सदैव एक जैसा नहीं होता है। ये हमेशा समय-समय पर परिवर्तित होता रहता है। इस वैज्ञानिक तकनीकी दुनिया में मनुष्य को हर मौसम में अपनी भौतिक क्रियाकलापों को पूर्ण करने के लिए कई तरह की तकनीकी अपनानी पड़ती है। बांध भी उसी तकनीक का आविष्कार है। बांध वह क्रिया है, जिसमे इसकी सहायता से किसी नदी या नहर के पानी के बहाव को अवरुद्ध कर उसे संचित किया जाता है तथा इस संचित जल का उपयोग कालान्तर में विभिन्न तरह से किया जाता है। सिंचाई , कृत्रिम झील का निर्माण, विभिन्न शहरों में जल की पूर्ती, जल विद्युत उत्पादन, बाढ़ से बचने और नदी या नहर के बहाव को संतुलित रखने के लिए बाँध का निर्माण किया जाता है। जैसा की हम देख रहें हैं की आजकल एसएससी और बैंकिंग परीक्षाओ में भारत के प्रमुख बांध, भारत की प्रमुख नदियों और भारत में सिंचाई के साधन से सम्बंधित प्रश्न पूछे जा रहे हैं। इसलिए हम लाये हैं, भारत के प्रमुख बांध जो की आपको आने वाली विभिन्न सरकारी परीक्षाओं में आपके जीके सेक्शन के ज्ञान को बढ़ाने में मददगार साबित होगी। इसलिए इस लेख को पूरा पढ़ें और अपने ज्ञान को बढ़ाएं। 

बैंकिंग और एसएससी  परीक्षाओ के लिए भारत के प्रमुख बांध 


भारत में प्रमुख / मध्यम आकार के बांधों की कुल संख्या 3200 होने का अनुमान है। लेकिन इससे पहले कि हम भारत में प्रमुख / महत्वपूर्ण बांधों की सूची जानने के लिए आगे बढ़ें, भारत में बांधों की उत्पत्ति को समझें।

भारत में बांधों की उत्पत्ति?
भारत में, सबसे पुराना बांध ग्रैंड अनिकट बांध या कल्लानाई बांध है जो पहली शताब्दी में चोल राजवंश के राजा करिकलन द्वारा कावेरी नदी पर बनाया गया था यह बांध असमान पत्थरों के साथ बनाया गया था और 329 मीटर की लंबाई और 20 मीटर की चौड़ाई पर बनाया गया था इस बांध का मुख्य उद्देश्य सिंचाई उद्देश्यों के लिए डेल्टा में पानी को हटाना था।

भारत में शीर्ष 5 सबसे बड़ें बांध 


1. टिहरी बांध, उत्तराखंड

यह भारत का सबसे ऊँचा बांध है और यह 260.5 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। इस बांध के निर्माण की लागत 1 बिलियन अमेरिकी डॉलर थी। टिहरी बांध दुनिया के सबसे ऊंचे बांधों में से एक है। टिहरी बांध भागीरथी नदी पर स्थित है और इसमें 1,000 मेगावाट (1,300,000 अश्वशक्ति) हाइड्रोइलेक्ट्रिसिटी उत्पादन की क्षमता है।

ऊंचाई260 मीटर
लंबाई575 मीटर
नदीभागीरथी नदी
स्थानउत्तराखंड
स्थापित क्षमता1,000MW
प्रकारअर्थ एंड रॉकफिल

2. भाखड़ा नांगल बांध, हिमाचल प्रदेश

226 मीटर ऊंचे इस बांध को बिलासपुर में सतलज नदी के ऊपर बनाया गया है। एक और बांध नीचे की ओर है, जिसे नांगल बांध कहा जाता है। एक साथ दोनों बांधों को भाखड़ा – नांगल बांध कहा जाता है। वर्ष 1963 में इस बांध की निर्माण लागत रु 245.28 करोड़ रु थी। भाखड़ा – नांगल बांध तीन राज्य सरकारों – राजस्थान, हरियाणा और पंजाब का एक संयुक्त उद्यम है।



ऊंचाई226 मीटर
लंबाई520 मीटर
नदीसतलज नदी
स्थानपंजाब और हिमाचल प्रदेश
स्थापित क्षमता1,325 MW
प्रकारठोस गुरुत्वाकर्षण

3. सरदार सरोवर बांध, गुजरात

यह बांध भारत के पहले उप प्रधानमंत्री सरदार वी पटेल की दूरदृष्टि थी। पंडित जवाहरलाल नेहरू ने 5 अप्रैल, 1961 को इस बांध की नींव रखी थी। हाल ही में, प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने अपने 67 वें जन्मदिन पर सरदार सरोवर बांध का उद्घाटन किया।

जैसा कि बांध की योजना चल रही थी, बांध ने सामाजिक कार्यकर्ताओं का ध्यान आकर्षित किया क्योंकि यह आरोप लगाया गया था कि बांध आवश्यक पर्यावरणीय और सामाजिक परिस्थितियों को पूरा नहीं करता है। कार्यकत्र्ताओं के बीच, मेधा पाटकर ने बांध के निर्माण को रोकने का बीड़ा उठाया।

ऊंचाई163 मीटर
लंबाई1,210 मीटर
नदीनर्मदा नदी
स्थानगुजरात
स्थापित क्षमता1,450 MW
प्रकारग्रेविटी बांध

4. हीराकुंड बांध, ओडिशा

यह बांध महानदी नदी पर 60.96 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। 1957 में निर्माण की कुल लागत 1.01 बिलियन थी।

ऊंचाई60.96 मीटर
लंबाई25.8 किलोमीटर
नदीमहानदी नदी
स्थानओडिशा
स्थापित क्षमता307.5 MW
प्रकारकम्पोजिट बांध

5. नागार्जुनसागर बांध, तेलंगाना

यह नागार्जुन सागर में कृष्णा नदी पर बनाया गया है तथा इसकी निर्माण लागत 1300 करोड़ रुपये थी।

ऊंचाई124 मीटर
लंबाई1,450 मीटर
नदीकृष्णा नदी
स्थानतेलंगाना
स्थापित क्षमता816 MW
प्रकारचिनाई बांध

भारत के प्रमुख बांध की सूची 


यहां भारत और उन नदियों पर बने महत्वपूर्ण बांधों की एक सूची दी गई है जिन पर वे बनाए गए हैं। तो पढ़िये ओर ज्ञान को बढ़ाइए।

राज्यनामनदी का नाम
आंध्र प्रदेशसोमासिला बांधपेनार नदी
श्रीशैलम बांधकृष्णा नदी
गुजरातउकाई बांधतापी नदी
धारोई बांधसाबरमती नदी
कदाना बांधमाही नदी
दंतीवाड़ा बांधबनस नदी
हिमाचल प्रदेश और पंजाब सीमाभाकड़ा नंगल बांध बांधसतलज नदी
हिमाचल प्रदेशपांडोह बांधबीस नदी
नाथपा झक्री बांधसतलज नदी
चमेरा बांधरवि नदी
जम्मू और कश्मीरबागलीहार बांधचेनाब नदी
दुम्हहर जलविद्युत बांधसिंधु नदी
उरी हाइड्रोइलेक्ट्रिक बांधझेलम नदी
झारखंडमैथॉन बांधबरकर नदी
चंडील बांधस्वर्णरेखा नदी
पैचेत बांधदामोदर नदी
कर्नाटकतुंगा भाद्र बांधतुंगभद्रा नदी
लिंगानामाकीबांधशारवती नदी
कद्र बांधकालिंदी नदी
अलामाट्टी बांधकृष्णा नदी
सुपा बांधकालिंदी या काली नदी
कृष्णा राजा सागर बांधकावेरी नदी
हरंगी बांधहरंगी नदी
नारायणपुर बांधकृष्णा नदी
कोडदाल्ली बांधकाली नदी
केरलमालमपुझा बांधमालमपुझा नदी
पिची बांधमनाली नदी
इडुक्की बांधपेरियार नदी
कुंडला बांधकुंडला झील
परंबिकुलम बांधपरंबिकुलम नदी
वालयार बांधवालयार नदी
मुल्परपेरिया बांधपेरियार नदी
नेययार बांधनेययार नदी
मध्यप्रदेशबर्ना बांधबर्ना नदी
बरगी बांधनर्मदा नदी
बंसगर बांधसोन नदी
गांधी सागर बांधचंबल नदी
महाराष्ट्रयेदारी बांधपूर्णा नदी
उज्जानी बांधभीमा नदी
पवना बांधमावल नदी
मुलशी बांधमुला नदी
कोयना बांधकोयना नदी
जयकवाड़ी बांधगोदावरी नदी
भट्टा बांधभत्सा नदी
विल्सन बांधप्रवरा नदी
तंसा बांधतन्सा नदी
पंशेत बांधअंबी नदी
मुला बांधमुला नदी
कोलकावाड़ी बांधवशिष्ठ नदी
गिरना बांधगिराना नदी
वैतरना बांधवैतरना नदी
खडकवासला बांधमुथा नदी
गंगापुर बांधगोदावरी नदी
तेलंगानाराधागारी बांधभगवती नदी
लोअर मैनेर बांधमैनेर नदी
मिड मैनयर बांधमैनयर नदी और एसआरएसपी बाढ़ प्रवाह नहर
ऊपरी मैनेर बांधमैनेर नदी और कुडलेयर नदी
सिंगुर बांधमंजजीरा नदी
निजाम सागर बांधमंजजीरा नदी
ओड़ीसाइंद्रवती बांधइंद्रवती नदी
हीराकुंड बांधमहानदी नदी
तमिलनाडूवैगी बांधवैगी नदी
परंचानी बांधपरलाययार नदी
मेट्तूर बांधकावेरी नदी
उत्तराखंडतेहरी बांधभागीरथी नदी
धौली गंगा बांधधौली गंगा नदी

भारत के प्रमुख बांध - दोष 


हम सभी यह जानते हैं की बांध के बनने से सिर्फ लाभ ही प्राप्त होता है, परंतु ऐसा नही है बांध के बनने से लाभ के अलावा कुछ नुकसान भी हैं, जो की नीचे दिये गए हैं।

  • सबसे पहले और सबसे महत्वपूर्ण, बांधों के निर्माण पर बांध के पास रहने वाले लोगों के जीवन पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
  • ज्यादातर मामलों में, प्रस्तावित बांध क्षेत्रों के पास गांवों या बस्तियों को स्थानांतरित किया जाता है। सोचने मे यह आसान काम प्रतीत होता है, पर वास्तव मे यह बहुत ही कठिन काम होता है।

सरदार सरोवर बांध परियोजना -


पंडित जवाहरलाल नेहरू ने 5 अप्रैल 1961 को इस बांध की नींव रखी। हाल ही में, प्रधान मंत्री श्री. नरेंद्र मोदी ने अपने 67 वें जन्मदिन पर सरदार सरोवर बांध का उद्घाटन किया है।

सरदार सरोवर दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा बांध है। यह नर्मदा नदी पर बना 138 मीटर ऊँचा (नींव सहित 163 मीटर) है। नर्मदा नदी पर बनने वाले 30 बांधों में सरदार सरोवर और महेश्वर दो सबसे बड़ी बांध परियोजनाएं हैं और इनका लगातार विरोध होता रहा है। इन परियोजनाओं का उद्देश्य गुजरात के सूखाग्रस्त इलाक़ों में पानी पहुंचाना और मध्य प्रदेश के लिए बिजली पैदा करना है लेकिन ये परियोजनाएं अपनी अनुमानित लागत से काफ़ी ऊपर चली गई हैं।

भारत के प्रमुख बांध - रोचक तथ्य 


भारत में लोकप्रिय बांधों के कुछ दिलचस्प तथ्य यहां दिए गए हैं:

    1. तेहरी बांध, उत्तराखंड –यह भारत में सबसे ऊंचा बांध है और यह 260.5 मीटर की ऊंचाई पर है। इस बांध के निर्माण की लागत 1 अरब अमेरिकी डॉलर थी। तहरी बांध भी दुनिया के सबसे ऊंचे बांधों में से एक है। तेहरी बांध भागीरथी नदी पर स्थित है और इसमें 1000 मेगावाट (1,300,000 एचपी) जलविद्युत पैदा करने की क्षमता है।
    2. भाखड़ा बांध, हिमाचल प्रदेश – यह बांध 226 मीटर लंबा है, यह बांध बिलासपुर में सेलेज नदी पर बनाया गया है। एक और बांध डाउनस्ट्रीम है, जिसे नांगल बांध कहा जाता है। दोनों बांधों को भाखड़ा – नांगल बांध कहा जाता है। वर्ष 1963 में इस बांध की निर्माण लागत 245.28 करोड़ रुपये थी। भाखड़ा – नांगल बांध तीन राज्य सरकारों – राजस्थान, हरियाणा और पंजाब का संयुक्त उद्यम है।
    3. नागार्जुन सागर बांध, आंध्र प्रदेश और तेलंगाना – यह बांध भारत का चौथा सबसे बड़ा बांध है और 124 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। इसकी निर्माण लागत 1300 करोड़ रुपये थी। इस बांध को नागार्जुन सागर में कृष्णा नदी पर बनाया गया है।
    4. हीराकुंड बांध, ओडिशा – यह बांध महानदी नदी पर 60.9 6 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। 1957 में इसके निर्माण की कुल लागत 1.01 बिलियन रूपये थी

 

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